बहारे जा फिजा तुम हो नसीमें दिल सीता तुम हो

बहारे जा फिजा तुम हो नसीमें दिल सीता तुम हो बहारे बागे बागे रिज़वा तुम से हे ज़ेदे जीना तुम हो हकीकत से तुम्हारे जुज़ खुदा और कौन वाकिफ है कहे तो क्या कहे कोई चुनी तुम हो चुना तुम हो खुदा की सल्तनत का दो जहां में कौन दूल्हा है तुम ही तुम हो … Read more

ज़मीं मैली नहीं होती , ज़मन मैला नहीं होता

ज़मीं मैली नहीं होती , ज़मन मैला नहीं होता मुहम्मद के गुलामो का , क़फ़न मैला नहीं होता मोहब्बत कमली वाले से , वो जज़्बा है सुनो लोगो ये जिस मन मैं समां जाये , वो मन मैला नहीं होता नबी के पाक लंगर पर , जो पलते है कभी उनकी जुबा मैली नहीं होती … Read more

अपने दामाने शफाअत में छुपाए रखना

अपने दामाने शफाअत में छुपाए रखना मेरे सरकार मेरी बात बनाए रखना मैंने माना के निकम्मा हु मगर आपका हु मुझ निकम्मे को भी सरकार निभाए रखना किसी मन सबका तलबगार ना दुनिया का खाक हूं मैं मुझे कदमों से लगाए रखना आपकी याद से आबाद है दिल मेरा हुजूर बंदा परवर मेरी हस्ती को … Read more

जब तक जियु मैं आपका कोई गम न पास आए

जब तक जियु मैं आपका कोई गम न पास आए जो मरो तो हो लहद पर तेरी रहमतों के साए मेरी जिंदगी का मकसद हो ऐ काश इश्के अहमद मुझे मौत भी जो आए इसी जुस्तजू में आए मुझे मौत जिंदगी दे मुझे जिंदगी मजा दे जो किताबे जिंदगी पर मोहर अपनी वह लगाए वह … Read more

कुछ ऐसा करदे मेरे किरदगार आंखों में

कुछ ऐसा करदे मेरे किरदगार आंखों में हमेशा नक्स रहे रुए यार आंखों में उन्हें ना देखा तो किस काम की है ये आंखें की देखने की है सारी बाहर आंखों में नजर में कैसे समाएगे फूल जन्नत के कि बस चुके हैं मदीने के खार आंखों में वो नूर दे मेरे परवरदिगार आंखों में … Read more

बड़े लतीफ हे नाजुक से घर में रहते हैं

बड़े लतीफ हे नाजुक से घर में रहते हैं मेरे हुजूर मेरी चश्मे तर में रहते हैं हमारे दिल में हमारे जिगर में रहते हैं उन्हीं का घर है ये वह अपने घर में रहते हैं यकीं वाले कहां से चले कहां पहुंचे जो अहले शक है अगर मैं मगर में रहते हैं खुदा के … Read more

दरे नबी पर ये उमर बीते

दरे नबी पर ये उमर बीते हो हम पे लूतफे दवाम ऐसा मदीने वाले कहे मकानी हो उनके दर पर कयाम ऐसा यह रिफ्अते जिक्र ए मुस्तफा है नहीं किसी का मकाम ऐसा जो बाद जिक्रे खुदा है अफजल है जिक्रे खैरुल अनाम ऐसा जो गमजदो को गले लगा ले बुरो को दामन में जो … Read more

दाग़े फुरक़ते तैयबा क़ल्ब मुज़ मईल जाता

दाग़े फुरक़ते तैयबा क़ल्ब मुज़ मईल जाता काश गुम्बदे खज़रा देखने को मिला जाता मेरा दम निकल जाता उन्के आस्ताने पर अनके आस्ताने की खाक में मैं मिल जाता मेरे दिल से धुल जाता दागे फुरकते तैयबा तैबा मैं फना हो कर तैबा मैं ही मिल जाता मौत लेके आ जाती ज़िंदगी मदीने में मौत … Read more

जो हो चुका हे जो होगा हुजूर जानते हैं

जो हो चुका हे जो होगा हुजूर जानते हैं तेरी अता से खुदाया हुजूर जानते हैं वो मोमिनो कीतो जानो से भी करीब हुए कहा से किसने पुकारा हुजूर जानते हैं बरोज़े हश्र शफाअत करेगे चुन चुन कर हर एक गुलाम का चेहरा हुजूर जानते हैं पहुंच के सिदरा पे रुहुल अमीन यह बोले के … Read more

मेरी बात बन गई है तेरी बात करते करते

मेरी बात बन गई है तेरी बात करते करते तेरे शहर में मैं आऊ तेरी नात पढ़ते पढ़ते तेरे इश्क की बदौलत मुझे जिंदगी मिली है मेरे पास भी है आई मेरी मौत डरते डरते मेरी बात बन गई है तेरी बात करते करते 2 किसी चीज की तलब है ना ही आरजू भी कोई … Read more